हिमाचल प्रदेश में मस्जिद विवाद अब कांग्रेस के हैडक्वार्टर दिल्ली तक पहुंच गया है। इस मुद्दे को लेकर कांग्रेस पार्टी ने चिंता जताई है और राज्य सरकार से स्पष्टता की मांग की है।
स्थानीय समुदाय में बढ़ते तनाव को देखते हुए कांग्रेस ने इस मामले को राष्ट्रीय स्तर पर उठाने का निर्णय लिया है। पार्टी के नेता इस विवाद के कारण हो रही धार्मिक तनाव और सामाजिक समरसता पर पड़ने वाले प्रभावों को लेकर चिंतित हैं।
कांग्रेस का कहना है कि राज्य सरकार को इस विवाद को सुलझाने के लिए ठोस कदम उठाने चाहिए, ताकि समाज में शांति और भाईचारे का माहौल बना रहे। पार्टी ने स्थानीय मुद्दों को लेकर अपने सक्रिय रुख को बरकरार रखते हुए इस मसले को केंद्रीय स्तर पर उठाने का निर्णय लिया है।
हिमाचल प्रदेश में मस्जिद के अवैध निर्माण को लेकर विवाद अब कांग्रेस मुख्यालय दिल्ली तक पहुंच गया है। मुस्लिम समुदाय का एक प्रतिनिधिमंडल इस मुद्दे पर कांग्रेस हाइकमान की शरण में गया है। उन्होंने मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू से भी वार्तालाप किया है।
यह प्रतिनिधिमंडल कांग्रेस महासचिव केसी वेणुगोपाल से मिला और मस्जिद के बाहर हो रहे प्रदर्शनों के बारे में जानकारी दी। प्रदेश कांग्रेस अल्पसंख्यक मोर्चा के अध्यक्ष इकबाल मुहम्मद के नेतृत्व में इस प्रतिनिधिमंडल में हिमाचल के इमाम भी शामिल थे।
प्रतिनिधिमंडल ने इमरान प्रतापगढ़ी से भी मुलाकात की, जिन्होंने उन्हें प्रदेश की स्थिति से अवगत करवाया। केसी वेणुगोपाल ने मुख्यमंत्री से फोन पर बातचीत कर घटनाओं को रोकने का आह्वान किया। उन्होंने आश्वासन दिया कि कांग्रेस पार्टी आपसी सोहार्द के लिए प्रतिबद्ध है और सभी धर्मों के लोगों को मिलजुल कर रहने का समर्थन करती है।
इकबाल ने कहा कि कुछ लोग माहौल को खराब करने की कोशिश कर रहे हैं, जबकि हिमाचल में सभी धर्मों के लोग एक साथ रहते हैं।