दिल्ली में गूंजा मंत्री का बयान, राज्य सरकार ने विक्रमादित्य के बयान से बनाई दूरी

दिल्ली पहुंची मंत्री के बयान की गूंज, राज्य सरकार ने विक्रमादित्य के बयान से किया किनारा
शहरी विकास मंत्री विक्रमादित्य सिंह के बयान पर विवाद बढ़ता जा रहा है, जिसमें उन्होंने उत्तर प्रदेश की तर्ज पर हिमाचल प्रदेश में भी दुकानदारों और रेहड़ी-फड़ी संचालकों के लिए आईडी और पहचान पत्र अनिवार्य करने की बात कही थी। राज्य सरकार ने इस बयान से खुद को अलग कर लिया है और इसे उनकी व्यक्तिगत राय बताया है।

मुख्य संसदीय सचिव संजय अवस्थी ने कहा है कि इस तरह के फैसले उद्योग मंत्री हर्षवर्धन चौहान की अध्यक्षता में गठित समिति की सिफारिशों के आधार पर ही लिए जाएंगे। संजय अवस्थी के अनुसार, नेम प्लेट और आई-कार्ड को लेकर अब तक कोई निर्णय नहीं हुआ है।

विक्रमादित्य सिंह ने अपने बयान में कहा था कि स्ट्रीट वेंडर पॉलिसी में यह सुनिश्चित किया जाएगा कि कोई भी विक्रेता अपनी पहचान छुपाकर काम न करे, लेकिन इस पर अब राज्य सरकार ने स्थिति स्पष्ट कर दी है कि इस मामले पर अंतिम निर्णय समिति की सिफारिशों के बाद ही लिया जाएगा।

समिति में कांग्रेस और भाजपा के सदस्य शामिल हैं, जो इस मुद्दे पर विचार कर रहे हैं और सभी के सुझावों को ध्यान में रखकर ही कोई कदम उठाया जाएगा।

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