मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने हिमाचल प्रदेश की आर्थिक स्थिति पर जोर देते हुए कहा है कि इसे लेकर चल रहा दुष्प्रचार अधिक है और वास्तविकता कम। उन्होंने पूर्व की सरकारों, विशेषकर भाजपा सरकार, पर आरोप लगाया कि उन्होंने आर्थिक सुधार के लिए प्रयास नहीं किए और वोट बैंक के लालच में राज्य के खजाने को लुटा दिया।
सीएम ने कहा कि उनकी सरकार ने ओल्ड पेंशन स्कीम लागू की है, जो यह दर्शाती है कि आर्थिक स्थिति इतनी खराब नहीं है। इसके अलावा, सैलरी और पेंशन में कुछ समय के लिए रोक लगाना वित्तीय प्रूडेंस का हिस्सा है, जो वित्तीय स्थिति से संबंधित नहीं है। उन्होंने स्पष्ट किया कि इस निर्णय से सरकार को तीन करोड़ रुपये का ब्याज बचत हो रहा है।
सुक्खू ने बताया कि राज्य पर लोन का बोझ बढ़कर 95,000 करोड़ रुपये तक पहुंच गया है, फिर भी ट्रेजरी ओवरड्राफ्ट में नहीं है। उन्होंने केंद्र सरकार पर भी आरोप लगाया कि वह प्राकृतिक आपदाओं के लिए जरूरी मदद नहीं दे रही है। मुख्यमंत्री ने कहा कि उनकी सरकार ने वित्तीय अनुशासन को बनाए रखा है और पिछले साल 2,200 करोड़ रुपये का अतिरिक्त राजस्व जोड़ा है।
उन्होंने आगे कहा कि हिमाचल प्रदेश को ग्रीन स्टेट बनाने और आत्मनिर्भर बनाने का उनका लक्ष्य है, और इसके लिए सरकार हर संभव प्रयास करेगी। विपक्ष से भी उन्होंने अपील की कि वह राज्य के हित में जिम्मेदार भूमिका निभाएं।