हिमाचल प्रदेश में कांग्रेस पार्टी ने अपनी राज्य कार्यकारिणी को भंग करने का बड़ा कदम उठाया है। ब्लॉक से लेकर राज्य स्तर तक सभी पदाधिकारियों को हटाकर अब नए सिरे से कार्यकारिणी का गठन किया जाएगा। यह निर्णय मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू और प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष प्रतिभा सिंह की सिफारिश पर लिया गया है, और इसके बाद कांग्रेस हाइकमान ने आधिकारिक आदेश जारी किए हैं।
कांग्रेस कार्यकारिणी को भंग करने का फैसला संगठन और राज्य सरकार दोनों की सहमति से लिया गया है। मुख्यमंत्री सुक्खू और प्रदेश अध्यक्ष प्रतिभा सिंह की हाल ही में हुई बैठक के बाद यह निर्णय लिया गया था, जिसे कांग्रेस हाइकमान ने अंतिम रूप से मंजूरी दी। राष्ट्रीय महासचिव केसी वेणुगोपाल ने इस फैसले की जानकारी दी है।
इस कदम के पीछे कई कारण बताए जा रहे हैं। प्रदेश में कांग्रेस सरकार बनने के बाद संगठन के कुछ सक्रिय पदाधिकारियों को महत्वपूर्ण सरकारी पद दिए गए थे, जबकि विधानसभा चुनाव, उपचुनाव और लोकसभा चुनाव में कई पदाधिकारी निष्क्रिय रहे थे। इन कारणों के मद्देनज़र पार्टी के नवनियुक्त सह प्रभारी विदित चौधरी और चेतन चौहान ने सक्रिय पदाधिकारियों को पदों पर नियुक्त करने और निष्क्रिय नेताओं को हटाने की सिफारिश की थी।
प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष प्रतिभा सिंह ने पहले ही संकेत दिए थे कि कार्यकारिणी को भंग कर दिया जाएगा और निष्क्रिय पदाधिकारियों को हटाकर नए चेहरों को संगठन में शामिल किया जाएगा। अब हाइकमान के इस निर्णय के बाद पार्टी की कार्यकारिणी को नए सिरे से आकार दिया जाएगा, जिससे कांग्रेस के संगठन को और मजबूत किया जा सके।