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जिला ऊना की ग्राम पंचायत देहलां के एक किसान का बेटा भारतीय सेना में अपनी सेवाएं देगा

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जिला ऊना की ग्राम पंचायत देहलां के एक Farmer’s Son भारतीय सेना में अपनी सेवाएं देगा। जहां पिता सुच्चा सिंह अपनी कठिन मेहनत से खेतीबाड़ी कर देशवासियों का पेट भरते हैं, वहीं उनका बेटा सुखविंदर सिंह भी देश की रक्षा में अपनी भूमिका निभाने के लिए भारतीय सेना में शामिल हुआ है। ग्राम पंचायत देहलां के निवासी सुच्चा सिंह का बेटा सुखविंदर सिंह अब भारतीय सेना की Army Aviation में Pilot के पद पर तैनात हो गया है।

पायलट बनने पर गांव में खुशी की लहर

सुखविंदर सिंह के भारतीय सेना में Pilot बनने की खबर ने उनके परिवार और गांववासियों में खुशी की लहर दौड़ा दी है। पिता सुच्चा सिंह के घर बधाई देने के लिए गांववाले, रिश्तेदार, दोस्त, और अन्य लोग लगातार आ रहे हैं। सुखविंदर के इस अद्वितीय उपलब्धि को लेकर हर किसी में गर्व और उत्साह देखा जा रहा है, और उनका यह कदम एक प्रेरणा बन चुका है।

शिक्षा और प्रशिक्षण: कठिन यात्रा

सुखविंदर सिंह ने अपनी Education जवाहर नवोदय विद्यालय पेखुबेला से 12वीं तक पूरी की। इसके बाद, उन्होंने भारतीय सेना में Pilot बनने के लिए अपनी कड़ी मेहनत जारी रखी। एक वर्ष की एयरफोर्स Training के बाद, उन्होंने भारतीय सैनिक अकादमी से चार वर्षों का कठिन प्रशिक्षण लिया। प्रशिक्षण में उत्कृष्ट प्रदर्शन करते हुए वे लेफ्टिनेंट के पद से पासआउट हुए। इसके बाद, उनकी कड़ी मेहनत और समर्पण ने उन्हें Army Aviation में Pilot के रूप में नियुक्ति दिलाई।

भारतीय सेना में Pilot बनने का सफर

सुखविंदर सिंह का कहना है कि Army Aviation में Pilot की नियुक्ति एक चुनौतियों से भरा रास्ता था। भारतीय सेना के इस विभाग में Pilot के पद के लिए बहुत कम युवाओं का चयन किया जाता है, और उनका चयन इस प्रक्रिया में एक महत्वपूर्ण उपलब्धि है। यह उनके कठिन परिश्रम, समर्पण और देश के प्रति निष्ठा का परिणाम है।

परिवार का समर्थन और प्रेरणा

सुखविंदर सिंह ने अपनी इस सफलता का श्रेय अपने दादा सूबेदार बरियाम सिंह, अपनी माता कमलेश कौर और अपने पिता सुच्चा सिंह को दिया है। उन्होंने बताया कि उनके दादा ने हमेशा उन्हें देश सेवा के महत्व को बताया, जबकि उनके माता-पिता ने जीवन में हमेशा अनुशासन और कड़ी मेहनत का महत्व सिखाया। सुखविंदर सिंह ने कहा कि उनके परिवार का प्यार और समर्थन ही उनकी सफलता की सबसे बड़ी वजह है।

गांव के लिए गर्व की बात

सुखविंदर सिंह की उपलब्धि न केवल उनके परिवार के लिए बल्कि पूरे गांव के लिए गर्व का विषय है। उनका Pilot बनना एक उदाहरण है कि कठिन मेहनत और समर्पण से किसी भी लक्ष्य को हासिल किया जा सकता है। अब उनकी सफलता से देहलां ग्राम पंचायत के Young Aspirations मिल रही है, और वे भी अपने सपनों को पूरा करने के लिए कठिन संघर्ष करने के लिए प्रेरित हो रहे हैं।

भविष्य में और बड़े लक्ष्य

सुखविंदर सिंह ने कहा कि भारतीय सेना में Pilot के रूप में उनका सफर यहीं खत्म नहीं होगा। वह भविष्य में अपनी कड़ी मेहनत से और ऊंचे पदों तक पहुंचने का लक्ष्य रखते हैं। उनका सपना है कि वह भारतीय सेना की सेवा करते हुए देश के लिए और भी बड़े योगदान दे सकें।

उनकी यह प्रेरणादायक यात्रा हर किसी के लिए एक संदेश है कि अगर कोई व्यक्ति अपने सपनों को पूरा करने के लिए दिल से मेहनत करता है, तो उसे सफलता जरूर मिलेगी।

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