“सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता मंत्री कर्नल धनीराम शांडिल ने घोषणा की है कि हिमाचल प्रदेश की 1500 रुपये की सम्मान राशि योजना के तहत अब एक परिवार से केवल एक महिला को ही राशि मिलेगी। डेढ़ साल में 18 से 60 वर्ष की आयु की 7,88,784 महिलाओं ने आवेदन किया है। वित्त वर्ष 2024-25 के लिए 2284 लाख रुपये का प्रावधान किया गया है। अब तक 28,249 महिलाओं को राशि प्रदान की जा चुकी है, जबकि 2,384 आवेदन पात्रता की कमी के कारण रद्द किए गए हैं। सत्यापन में देरी और विधानसभा उपचुनाव के कारण भी प्रक्रिया में समय लग रहा है। यह जानकारी मंत्री शांडिल ने विधानसभा में प्रश्नकाल के दौरान दी।”
“शांडिल के बयान पर विपक्षी सदस्यों ने सदन में जमकर हंगामा किया और सरकार पर चुनावी वादों को पूरा न करने का आरोप लगाया। भाजपा विधायक राकेश जम्वाल ने कहा कि कांग्रेस ने चुनाव के दौरान 18 से 60 वर्ष की महिलाओं को 1500 रुपये देने का वादा किया था, लेकिन अब तक केवल 28,000 महिलाओं को ही राशि जारी की गई है। उन्होंने आरोप लगाया कि कांग्रेस ने चुनावी गारंटी के नाम पर झूठे वादे किए और महिलाओं को ठगा है। भाजपा के अन्य विधायकों ने भी सरकार की मंशा पर सवाल उठाए।
मंत्री कर्नल धनीराम शांडिल ने उत्तर देते हुए कहा कि अच्छा काम होने पर उसकी सराहना की जानी चाहिए। उन्होंने बताया कि हिमाचल की योजना की प्रशंसा अन्य राज्यों में भी हो रही है, जहां मध्य प्रदेश, महाराष्ट्र, और झारखंड में ऐसी योजनाएं शुरू की गई हैं। शांडिल ने कहा कि सरकार ने सामाजिक सुरक्षा पेंशन प्राप्त करने वाली 2,45,881 महिलाओं की पेंशन राशि को 1100 और 1150 रुपये से बढ़ाकर 1500 रुपये कर दिया है। योजना का लाभ उन महिलाओं को मिलेगा जो शर्तें पूरी करती हैं और 18 से 59 वर्ष की आयु की हैं (60 वर्ष की आयु पूरी होने तक)।”